क्रिप्टोकॉइन और क्रिप्टो टोकन




आज हम जानकारी लेंगे क्रिप्टो कॉइन और क्रिप्टो टोकन के बारे में। दरअसल क्रिप्टो कॉइन या क्रिप्टो टोकन को अगर हम डिजिटल कॉइन या डिजिटल टोकन कहें तो ज्यादा सही होगा क्योंकि क्रिप्टो का मतलब होता है गुप्त । मगर क्रिप्टोकॉइन या क्रिप्टोटोकन में गुप्त जैसी कोई भी चीज़ नज़र नहीं आती है। यहाँ पर सब कुछ खुला हुआ और पारदर्शी तरीके से आपके सामने रखा जाता है। अगर आपको इस लेख में कहीं पर क्रिप्टो करन्सी की जगह डिजिटल कॉइन या क्रिप्टोटोकन की जगह डिजिटल टोकन का जिक्र मिले तो आप घबराए नहीं हम क्रिप्टोकरन्सी या क्रिप्टोटोके के बारे में ही बात कर रहें हैं । 

क्रिप्टो कॉइन या क्रिप्टो टोकन दोनो ही सेवाओं को उपयोग करनें के लिए दी जाने वाली खर्च की पूर्ति करने के काम में लाए जा सकते हैं । जैसे आप रुपये का उपयोग कर किसी भी तरह की सेवा या सामान का उपयोग करतें हैं उसी प्रकार से,  बशर्ते सामनें वाला भी उस क्रिप्टो टोकन या कॉइन के बदले में आपको सेवा या सामान देने के लिए तैयार हो।



क्रिप्टो कॉइन या डिजिटल कॉइन क्या होते हैं ?


तकनीकी भाषा में समझाने की बजाए हम आम भाषा में इसे एक उदाहरण से समझ लेते हैं। यह ज्यादा असरदार रहेगा । 

तो मान लीजिए की आपको कोई दुकान या शोरूम चाहिए जहां से आप अपना सामान ग्राहकों को बेच सके तो इसके लिए आपको कहीं अच्छी जगह जमीन देख कर वहां अपनी दुकान बनानी होगी, फिर दुकान की मरम्मत उसकी सजावट, बिजली व पानी, उसकी सुरक्षा करने के लिए आपको और भी खर्च करना होगा। दुकान से जुड़ी सभी तरह की जिम्मेदारी आपकी होगी और उसका उपयोग कर सकते हैं। आप अपनी दुकान को लेकर किसी पर भी निर्भर नहीं हैं, आप दुकान में अपने मन मुताबिक बदलाव कर सकते हैं जैसे की अगर ज्यादा बड़ी दुकान है तो आप उसमे अलग - अलग कमरे बनवा सकते हैं या कैबिन बनवा सकते है। इसके लिए आपको किसी की अनुमति लेने की जरूरत नहीं होती है। 

ठीक इसी प्रकार के होते हैं क्रिप्टो या डिजिटल कॉइन। इनकी भी अपनी खुद की ब्लॉकचेन व्यवस्था होती है, अपने क्रिप्टोकोड होते हैं तो इनके काम करने के तरीके को निर्धारित करतीं हैं और इनका अपना ही प्रोटोकॉल होता है जिसके मद्देनजर इसपर हो रहे कार्यों को संचालित व सत्यापित किया जाता है। 

यह डिजिटल या क्रिप्टोकॉइन अपने ECOSYSTEM में बदलाव करने के लिए किसी दूसरे पर निर्भर नहीं होती हैं। यह प्रोजेक्ट अपने ब्लॉकचेन के डेटाबेस की SHARDING और नेटवर्क पर SOFT FORK या HARD FORK करने का निर्णय लेने के लिए स्वतंत्र होते हैं। 

इन क्रिप्टोकॉइन का अपना खुद का कॉइन होता है जिसे माइनर की सहायता से माइन किया जा सकता है। जैसे कि बिटकॉइन इथीरियम मोनेरो लाइटकॉइन डोजकॉइन आदि काफी सारे क्रिप्टो या डिजिटलकॉइन के नाम हैं । इन्हें आप माइनर की सहायता से माइन कर सकते हैं और रिवार्ड में आपको भी कुछ डिजिटल कॉइन मिल जाएंगे।




क्रिप्टो या डिजिटल टोकन क्या होते हैं?


तो चलिए हम अपना सामान बेचने के लिए फिर से दुकान या शोरूम का उदाहरण लेते हैं । मगर इस बार हम अपनी खुद की दुकान न बना कर किराये की दुकान या शोरूम लेंगे और अपना सामान ग्राहकों को बेचेंगे। क्योंकि हमारी आमदनी उतनी नहीं है और नाहीं हमारा बजट उतना है कि हम दुकान के लिए ज़मीन खरीद कर नई दुकान बना सकें, या हम दुकान को अस्थायी रूप से लेना चाहते हैं ताकि अगर हमारा काम आगे चलकर तरक्की कर जाए तो हम वह दुकान छोड़ कर किसी बड़ी दुकान या बड़ा शोरूम ले लें। 

अगर हम किराये की दुकान लेते हैं तो दुकान की सुरक्षा से संबंधित जिम्मेदारी पर ध्यान देना होता है उसकी मरम्मत या रखरखाव संबंधित काम दुकान के मालिक का होता है। हमें उसक दुकान का उपयोग कर अपना सामान बेचना है। अगर हमारा काम ज्यादा बड़ा हो जाता है और हमें उतनी आमदनी होती है कि हम अपनी खुद की दुकान ले सकें तो हम बाद में अपनी खुद की भी दुकान खरीद सकते हैं। 

इसी तरह से क्रिप्टो या डिजिटल टोकन होते हैं इनकी अपनी कोई ब्लॉकचेन नहीं होती बल्कि यह किसी दूसरे की ब्लॉकचेन व्यावस्था का उपयोग कर अपनी सेवाएँ प्रदान करते हैं और उस ब्लॉकचेन पर पहचान के लिए यह अपना एक टोकन बना लेते हैं जैसे कि आप अपनी दुकान का पता खुद के नाम पर दे सकते हैं मगर किराये की दुकान का पता आपको उसके मालिक के नाम पर ही देना होता है बस दुकान का नाम आपका होगा। 

कुछ जाने माने टोकन हैं तिथर(USDT), सूशीस्वाप (SUSHISWAP), यूनीस्वाप (UNISWAP), चेनलिंक (CHAINLINK), बेलेंसर (BALANCER), डाई (DAI), आवे (AAVE), मकेर (MAKER) आदि कुछ चर्चित डिजिटल टोकन के नाम हैं जो कि  इथिरीयम की ब्लॉकचेन पर बने हुए हैं। यह इथीरियम की ब्लॉकचेन का उपयोग कर अपनी सेवाएँ लोगों को प्रदान कर रहीं हैं । आप कभी भी देखें तो आपको इनके डिजिटल वॉलेट का एड्रैस (CRYPTO WALLET ADDRESS)  इथीरियम के डिजिटल वॉलेट के एड्रैस (ETHEREUM WALLET ADDRESS) की तरह ही मिलेगा। 

इन टोकन को आप माइनर की सहायता से माइन नहीं कर सकतें हैं जैसा की क्रीप्टो कॉइन में संभव होता है। 





निष्कर्ष

क्रिप्टो कॉइन या क्रिप्टो टोकन दोनो ही सेवाओं को उपयोग करनें के लिए दी जाने वाली खर्च की पूर्ति करने के काम में लाए जा सकते हैं ।

क्रिप्टोकॉइन या क्रिप्टोटोकन में वही फ़र्क होता हैं जैसा कि अपनी दुकान खरीदने में या किराये की दुकान खरीद कर सामान बेचनें में। 

ध्यान रहें कि  किराये की दुकान वाला कभी भी अपनी दुकान बना सकता है मतलब कोई भी टोकन अपनी ब्लॉकचेन शुरू कर कभी भी क्रिप्टोकॉइन बन सकता है या कोई भी क्रिप्टोकॉइन किसी दूसरी ब्लॉकचेन का उपयोग कर अपना क्रिप्टो टोकन बना सकती है। 

पते की बात इतनी है कि अगर खुद की ब्लॉकचेन व्यवस्था है तो वह क्रिप्टोकॉइन कहलाएगा और अगर दूसरे की ब्लॉकचेन व्यवस्था का उपयोग कर अपनी सेवा दे रही है तो क्रिप्टो टोकन कहलाता है।